Friday, 31 May 2013

||नमामि अम्बे दीन वत्सले||

||नमामि अम्बे दीन वत्सले||


||नमामि अम्बे दीन वत्सले||

या देवी सर्वभुतेषु लक्ष्मीरूपेण संस्थिता ।
नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः ॥
महालक्ष्मी नमस्तुभ्यं , नमस्तुभ्यं सुरेश्वरी। 
हरिप्रिय नमस्तुभ्यं , नमस्तुभ्यं दयानिधे।। 

नमामि अम्बे दीन वत्सले,
तुम्हे बिठाऊँ हृदय सिंहासन .
तुम्हे पिन्हाऊँ भक्ति पादुका,
नमामि अम्बे भवानि अम्बे ..

श्रद्धा के तुम्हे फूल चढ़ाऊँ,
श्वासों की जयमाल पहनाऊँ .
दया करो अम्बिके भवानी,
नमामि अम्बे भवानि अम्बे ..

बसो हृदय में हे कल्याणी,
सर्व मंगल मांगल्य भवानी .
दया करो अम्बिके भवानी,
नमामि अम्बे भवानि अम्बे ..

या देवी सर्वभुतेषु मातृरूपेण संस्थिता ।
नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः ॥

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